तिलस्वां।तिलस्वां महादेव बिजौलिया उपरमाल परिक्षेत्र में सावन के अवसर पर आयोजित शिवमहापुराण कथा के दूसरे दिन की शुरुआत अपने मन को नियंत्रण करने एवं मन और बुद्धि का सामंजस्य जीवन में अतिआवश्यक इस बात का वर्णन करते हुए व्यासपीठ से आग्रह किया कि हम जीवन का विवेचन करते हुए अपने मन को भक्तिपथ पर मोडे और जीवन यात्रा में भगवदीय संकल्प को पूर्ण करें।
साथ आज के बदलते दौर में दादा दादी की हमारे बच्चों के जीवन में आवश्यकता पर चर्चा करते हुए कहा कि भले आप कितने ही सफल हो जाएं लेकिन बच्चों को धार्मिक सामाजिक रीति रिवाज की शिक्षा दादा दादी से लेना आवश्यक है और इसी कड़ी में अभी सिनेमाघरों में रिलीज हुई फिल्म नरसिम्हा पर बोले कि देखो जब धर्म पर कोई सात्विक वातावरण युक्त फिल्म बनती है तो सिनेमाघर भी मंदिर बन जाते हैं क्योंकि अभी हालिया रिलीज भगवान नरसिंह और भक्त प्रहलाद पर बनी फिल्म को देखे उमड़ा जनता का हुजूम सिनेमाघरों में जूते चप्पल बाहर निकाल कर जा रहे हैं और अंदर शंखनाद हो रहे हैं जयकारों से गूंज रहे हैं।यही सनातन की प्रमाणिकता है। कथा प्रतिदिन 11 बजे से 3 बजे तक होगी।भगवान पर भरोसा पक्का रखे और जीवन पथ पर आगे बढ़ते चलो निश्चित रूप से सफलता मिलेगी ऐसा विश्वास करने की महत्वत्ता बताई और.. तेरे भरोसे मेरी गाड़ी भोले तू जाने तेरा काम जाने....भजन पर पूरा पांडाल झूम उठा